राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 05 दिसम्बर 2020
हिमाचल परिवहन सेवानिवृत कर्मचारी कल्याण मंच की बैठक बोड (जसूर) में आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता मंच के उपाध्यक्ष जोगिंद्र सिंह पठानिया ने की जबकि बैठक में हिमाचल परिवहन सेवानिवृत कर्मचारी कल्याण मंच प्रदेश अध्यक्ष बलराम पूरी बिशेष रूप से मौजूद रहे।
बैठक में एचआरटीसी पेंशनरों की पेंशन के स्थाई समाधान व अन्य लंबित वित्तिय लाभों के बारे गम्भीरता से चर्चा की गई। पेंशनरों ने अपना दर्द बयान करते हुए बताया कि उन्हें समय पर पेंशन नहीं मिल रही, उन्हें हर माह की 22-25 तारीख के पश्चात् ही पेंशन का भुगतान हो रह है जिस कारण उन्हें भारी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है।
वहीँ पेंशनरों के अन्य वित्तिय लाभ जो कि पिछले लघभग पांच बर्षो से लंबित चले आ रहे हैं अभी तक सरकार व निगम प्रबंधन द्वारा उनका भुगतान नही किया गया है। बर्ष 2015 से 27 प्रतिशत मंहगाई भत्ते का एरियर बर्ष 2016 से लीव इन-केश्मेन्ट का भुगतान, बर्ष 2017 से ग्रेज्युटी का भुगतान 8 प्रतिशत अंतरिम राहत का बकाया एरियर, रिवाइंन पेंशन का एरियर, 2018 से पेंशन एरियर, 1-7-18 से 144 प्रतिशत व 1-1-2019 से 144-148 प्रतिशत 8 प्रतिशत मंहगाई भत्ते का भुगतान इन सभी भत्तों की लगभग 300 करोड़ रुपये से अधिक देनदारियां राज्य सरकार/निगम प्रबंधन द्वारा पेंशनरों की लंबित रखी हुई है। जनता की सेवा में अर्पित अपना जीवन अर्पित करने वाले पेंशनर अपने पैसे के लिए दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं।
बैठक में कहा गया कि 17 मार्च 2020 को एचआरटीसी, वीओडी की जो बैठक हुई थी उसमें एचआरटीसी पेंशनर को 4 प्रतिशत आईआर, 1-4-2020 से देने के लिए 2.50 करोड़ रुपये पेंशनरों की लंबित लीव-इंक़ेश्मेन्ट के लिए 7 करोड़ रुपये, पेंशनर को बर्ष 2015 से 2016 तक एक बर्ष का मंहगाई भत्ते का एरियर दिए जाने का निर्णय लिया गया था, लेकिन निगम प्रबंधन द्वारा आज तक वीओडी के निर्णय को अमलीजामा नही पहनाया जो कि बहुत ही निंदनीय विषय है और इससे पेंशनरों में भारी रोष है।
एचआरटीसी पेंशनरों का कहना है कि पेंशन के स्थाई समाधान व अन्य लंबित वित्तिय लाभों के भुगतान बारे बर्ष 2018 जब से वर्तमान सरकार सतासीन हुई है तब से इन तीन बर्षों में निगम के पेंशनरों ने पेंशन का बजट में स्थाई समाधान व लंबित वित्तिय लाभों के भुगतान हेतु बार-बार मुख्यमंत्री, परिवहन मंत्री व वित्त सचिव से पत्राचार किए, लेकिन उन्हें अभी तक आश्वासनों के सिवाए कुछ नहीं मिला।
उन्होंने कहा कि अब पुनः बर्ष 2021-22 का वजट सत्र आने वाला है। एचआरटीसी के पेंशनर राज्य सरकार से आग्रह के साथ ही सरकार को आगाह करते हैं कि बर्ष 2021-22 के वजट में एचआरटीसी की पेंशनरों की पेंशन का स्थाई समाधान व लंबित वित्तिय लाभों के भुगतान का इस बजट में प्राबधान करें अन्यथा एचआरटीसी पेंशनरों को सरकार के विरुद्ध कठोर कदम उठाने पर विवश न होना पड़े। जिसकी जिमेदारी सरकार व निगम प्रबंधन की होगी।
इस मौके पर चमन लाल पुंडीर, वीर सिंह चौहान, मधुसूदन शर्मा, किशोरी लाल धनोटिया, कृपाल पठानिया सचिव, हरनाम सिंह जरयाल, भीखम परमार, अशोक मेहरा, राकेश मेहरा, निर्मल सिंह, कुलदीप चंद, दिनेश कुमार, पूर्ण चंद, शाम लाल, मोहन लाल, रक्षपाल सिंह, विधि सिंह सहित काफी संख्या में पेंशनर मौजूद रहे।
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