Sunday, May 31, 2020

क्या नूरपुर सिविल अस्पताल रेफरल अस्पताल बन चुका है

राकेश शर्मा (जसूर) 30 मई 2020
टांडा मेडिकल कॉलेज में नूरपुर के कोट पलाहड़ी से एक गरीब परिवार से संबध रखने वाली गर्भवती बंदना ने नार्मल डिलीवरी द्वारा एक बच्चे को जन्म दिया। एक एक साधारण बात है लेकिन जिस महिला ने नार्मल डिलीवरी द्वारा एक बच्चे को जन्म दिया उसे पहले नूरपुर अस्पताल ले जाया गया था जहाँ से उसे सीधे टांडा रैफर कर दिया गया। और उस पर भी एम्बुलेंस सुविधा सिर्फ आधे से भी कम रस्ते तक देने की बात कही गई। ऐसे में एक गरीब परिवार को खुद टैक्सी कर गर्भवती को टांडा ले जाने के लिए मजबूर होना पड़ा। परिवार वालों ने ऐसे में सवाल उठाये हैं कि नार्मल डिलीवरी के लिए भी अगर टांडा जाना पड़े तो नूरपुर अस्पताल का क्या औचित्य?
विकासखंड नूरपुर की पंचायत कोट पलाहड़ी निवासी बन्दना के ससुर लब्बू राम जो क़ी एक गरीब परिवार से संबंध रखते हैं ने बताया कि 28 मई को शाम लगभग 7:30 बजे 108 एंबुलेंस की सहायता से गर्भवती बंदना को प्रसब हेतु नूरपुर सिविल अस्पताल में ले जाया गया। लेकिन अस्पताल में प्रसब ना करवा कर उसे रात 11 बजे के बाद टांडा मेडिकल कॉलेज रैफर कर दिया गया। प्रसव पीड़ा से कराहती महिला को एक तो रात के समय और ऊपर से लॉक डाउन के चलते बड़ी मुश्किल से अन्य गाड़ी का प्रबंध करके रात लगभग 1:00 बजे टांडा मेडिकल कॉलेज पहुंचाया गया जहाँ नॉर्मल डिलीवरी द्वारा वंदना ने एक बच्चे को जन्म दिया।
एसएमओ नूरपुर डॉ दिलवर का इस मामले में कहना है कि वंदना को प्रसव के लिए 108 द्वारा नूरपुर लाया गया था। मगर बच्चे की दिल की धड़कन सही न होने के कारण वंदना को टांडा रैफर कर दिया गया। अस्पताल द्वारा धर्मशाला में 108 एम्बुलेंस के लिए बात की गई थी, लेकिन उस समय एम्बुलेंस उपलब्ध नही हो पाई और जो हमारे पास एम्बुलेंस थी वो एक अन्य केस जिसे कि टांडा रैफर किया था उसे लेकर गई थी। डॉ दिलवर ने कहा कि नूरपुर अस्पताल में आप्रेशन के द्वारा भी डीलीवरी होती है और उस दिन भी ऑपरेशन के द्वारा डिलीवरी हुई थी।

हिमाचल: कर्फ्यू में 14 घंटे की ढील

राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 31 मई 2020
राज्य सरकार ने कर्फ्यू में सुबह 6 से सायं 8 बजे तक छूट देने का निर्णय लिया है, ताकि आम लोगों को सुविधा मिल सके। यह बात मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने आज शिमला से प्रदेश के सभी उपायुक्तों, पुलिस अधीक्षकों और मुख्य चिकित्सा अधिकारियों के साथ कोरोना वायरस के दृष्टिगत आयोजित वीडियो कान्फ्रेंसिंग बैठक की अध्यक्षता करते हुए कही।
मुख्यमंत्री ने कहा कि अंतर जिला बसें सोमवार से आरम्भ हो जाएंगी, इसलिए बसों में और बस अड्डों पर उचित सामाजिक दूरी सुनिश्चित की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि उपायुक्तों और पुलिस अधीक्षकों को सभी बस अड्डों पर भीड़ को नियंत्रित करने और कानून व्यवस्था को बनाए रखने के लिए पर्याप्त पुलिस बल उपलब्ध करवाना होगा। उन्होंने कहा कि बसों में 60 प्रतिशत से अधिक यात्री नहीं होने चाहिए और चालक, परिचालकों को स्वास्थ्य विभाग के सभी सुरक्षा नियमों का पालन करना होगा।
जय राम ठाकुर ने कहा कि कोविड-19 महामारी को फैलने से रोकने के लिए उठाए जाने वाले कदमों के बारे में लोगों को जागरूक करने के लिए सूचना, शिक्षा और संचार (आईईसी) सम्बन्धित प्रभावी प्रणाली विकसित की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि लोगों को सामाजिक दूरी के प्रति जागरूक करने के लिए बस अड्डों व अन्य स्थानों पर होर्डिंग लगाने, लोगों को मास्क का उपयोग करने के लिए प्रेरित करने के अलावा और उद्घोषणाओं के लिए ध्वनि प्रसार संयत्र की उचित व्यवस्था करने के निर्देश दिए। 
मुख्यमंत्री ने कहा कि विभिन्न जिलों में लोगों की आवाजाही के लिए बिना किसी पास के अनुमति होगी, लेकिन अंतरराज्यीय आवाजाही के लिए पास की आवश्यकता होगी। उन्होंने कहा कि देश के अन्य हिस्सों से आने वाले लोगों को क्वारंटीन में रहना होगा। उन्होंने कहा कि रेड जोन से आने वाले लोगों को संस्थागत क्वारंटीन में रखा जाएगा और अन्य क्षेत्रों से आने वाले लोगों को होम क्वारंटीन में रखा जाएगा। उन्होंने कहा कि संस्थागत क्वारंटीन में रखे गए लोगों को कोविड-19 टैस्ट नेगेटिव आने के बाद ही घर जाने की अनुमति दी जाएगी।
जय राम ठाकुर ने कहा कि 25 अप्रैल से अब तक देश के विभिन्न हिस्सों में फंसे 1.60 लाख से अधिक हिमाचलवासी राज्य में वापिस पहुंच चुके हैं। उन्होंने कहा कि लगभग 91,000 को होम क्वारंटीन और 7000 से अधिक को संस्थागत क्वारंटीन में रखा गया है। उन्होंने कहा कि कोविड-19 पाॅजिटिव मरीजों के सम्पर्कों का पता लगाने और स्क्रीनिंग करने पर विशेष ध्यान देना चाहिए ताकि उन लोगों का समय पर उपचार और वायरस को फैलने से रोका जा सके।
मुख्यमंत्री ने कहा कि होम क्वारंटीन सुविधाओं को मजबूत तथा अधिक प्रभावी बनाया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि देश के अन्य हिस्सों से आने वाले लोगों पर नजर रखने के लिए पंचायती राज संस्थानों के प्रतिनिधियों को बड़े पैमाने में शामिल किया जाना चाहिए। उन्होंने पंचायती राज संस्थानों के प्रतिनिधियों से कहा कि वे लोगों को होम क्वारंटीन नियमों का सख्ती से पालन करने के लिए प्रेरित करें।
इस अवसर पर मुख्य सचिव अनिल खाची, पुलिस महानिदेशक संजय कुंडू, अतिरिक्त मुख्य सचिव स्वास्थ्य आर.डी. धीमान, प्रधान सचिव प्रबोध सक्सेना, जे.सी. शर्मा और ओंकार शर्मा तथा मुख्यमंत्री के विशेष सचिव डी.सी. राणा व अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।

Friday, May 29, 2020

पीपीई किट घोटाला हिमाचल की छवि पर दाग: सुदर्शन शर्मा

राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 29 मई 2020  


हिमाचल प्रदेश में कॉरोना काल के दौरान काफी मशक्कत के उपरांत राष्ट्रीय स्तर पर देव भूमि ने आपदा प्रबंधन के क्षेत्र में ख्याति अर्जित की। लेकिन पीपीई  किट घोटाले ने हिमाचल राज्य की ईमानदार छवि को गहरा धक्का लगा,जिससे मुख्यमंत्री की ईमानदार छवि की अब अग्नि परीक्षा का दौर शुरू हुआ है।येे कहना है ज़िला कांग्रेस प्रवक्ता सुदर्शन शर्मा का।
सुदर्शन शर्मा का कहना ह कि जयराम सरकार का यह ढाई वर्ष का कार्यकाल वाक्य ही असल में राम राज्य को प्रमाणित करता है। लेकिन अब ढाई वर्ष का बचा हुआ कार्यकाल रामायण युग से निकल कर महाभारत युग की ओर अग्रसर होता नजर आ रहा है।जब भी अन्तर्राष्ट्रीय पटल पर ईमानदारी का बखान कोई भी बुद्धिजीवी करता है तो हिमाचल जैसे पहाड़ी राज्य का बखान करने में गोरवभिंत महसूस करता है।अब दलगत राजनीति से ऊपर उठ कर हिमाचल प्रदेश की ईमानदार छवि को बरकरार रखना होगा।
सुदर्शन शर्मा ने कहा कि इस पहाड़ी राज्य का दर्जा राष्ट्र की सुरक्षा के लिहाज से,जनसंख्या के लिहाज से प्रथम दर्जा प्राप्त है,देश की सुरक्षा को समर्पित हिमाचल राज्य के जवानों ने शहादत में भी एहम किरदार अदा किया है।मेजर सोम नाथ शर्मा,विक्रम बत्रा,सौरभ कालिया ऐसे कई बहादुर बीरो ने देश की सरहदों पर सुरक्षा खातिर दुश्मनों के दांत खट्टे करते हुए अपने प्राण दे मां की गोद में समां गए।यह बो देव भूमि है जिसकी स्थापना हिमाचल प्रदेश के प्रथम मुख्यमंत्री डॉ यशवंत सिंह परमार ने तत्कालीन प्रधान मंत्री इंदिरा गांधी द्वारा 1971 को पूर्ण राज्य का दर्जा दिया गया।इस पहाड़ी राज्य की राजनीतिक धरोहर के रूप में आज भी हिमाचल प्रदेश के जनमानस को गर्व है।जिनमे मुख्यता राज्य के छ मरतबा मुख्यमंत्री रहे राजा वीरभद्र को मसीहा के तौर पर पहचान मिली,तदोपरांत माननीय शांता कुमार जो कि दो मरतबा राज्य के बतौर मुख्यमंत्री रहे जिनको पानी वाले,अन्तोदय जैसी कल्याणकारी योजनाओं के रूप में पहचान मिली,इनके उपरांत प्रोफेसर प्रेम कुमार धूमल के नेतृत्व में दो मरतबा मुख्यमंत्री का कार्यभार संभाला ब सड़कों वाले मुख्यमंत्री के रूप में पहचान बनाई।
अब देखना यह है कि मौजूदा मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर कोन सी पहचान लेकर राष्ट्रीय स्तर पर उभर कर सामने आ सकते है। यह तो गर्व ज्ञान की बात है लेकिन ईमानदार छवि का रुतबा तो ठाकुर साहब का बरकरार है। जिसके लिए महोदय बधाई के पात्र है।

यहां भी हैं रोजगार के अवसर:अभिलाष शर्मा

राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 29 मई 2020  


-अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद-जिला संयोजक अभिलाष शर्मा ने प्रेस नोट जारी करते हुए कहा कि भारत एक कृषि प्रधान देश रहा है भारतीय अर्थव्यवस्था में कृषि की विशेष भूमिका है। स्वतंत्रता प्राप्ति के समय भारत की रीड की हड्डी कृषि को कहा जाता था लेकिन वर्तमान समय में प्राथमिक क्षेत्र को छोड़कर तृतीयक क्षेत्र पर अर्थात सेवा क्षेत्र में भारतीय लोग अधिक सेवाएं दे रहे हैं वर्तमान समय में कोरोना महामारी के कारण कई लोग बेरोजगार हो गए है इस महामारी के चलते लोग अपनी कंपनियों को छोड़कर घर वापस आ चुके है तथा वह जीवन के निर्वाह के लिए कृषि सबसे सुखद रोजगार रहेगा।
इस वैश्विक महामारी ने ना केवल भारत बल्कि पूरे विश्व की अर्थव्यवस्था तथा रोजगार में उथल-पुथल ला दी है तथा भारत में कोरोना का प्रभाव काफी महीनों तक रहेगा तो इसके चलते भारत के लोगों को घबराने की आवश्यकता नहीं है। हमारे पास रोजगार का साधन तथा सबसे मजबूत साधन कृषि हमारा रोजगार बन सकता है क्योंकि भारत एक कृषि प्रधान देश रहा है तथा कृषि के कारण हम घर में रहकर अपने जीवन निर्वाह के लिए प्रयास कर सकते हैं और मूलभूत आवश्यकताओं की पूर्ति कर सकते हैं.
अभिलाष शर्मा ने कहां कि हमें इस समय राजनीतिक भेदभाव को त्याग कर देश की उन्नति - विकास तथा कोरोनावायरस से लड़ने के लिए सभी लोगों को प्रयास करने चाहिए विश्व भर की सरकारें इस महामारी से लग रही है और हमारी भारत सरकार तथा प्रशासन ने इस महामारी पर काफी हद तक अंकुश लगाया है जोकि सहारनीय कार्य है तथा जनता ने भी भारत सरकार तथा प्रशासन का पूरा पूरा सहयोग दिया है लेकिन यह महामारी अभी समाप्त नहीं हुई है तो मुझे आशा है की आगे भी समाज देश के लिए एक जुट होकर सहयोग देता रहेगा देश जीतेगा कोरोना हारेगा घर पर रहें सुरक्षित रहें तथा सरकार और प्रशासन के निर्देशों का पालन करें।

Wednesday, May 27, 2020

हि.प्र. मत्रिमण्डल के निर्णय (27 मई 2020)

राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 27 मई 2020
मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर की अध्यक्षता में आज यहां आयोजित मंत्रिमंडल की बैठक में राज्य के विभिन्न विभागों में वित्तीय संभावनाओं का पता लगाने के लिए कैबिनेट उप समिति द्वारा किए गए प्रयासों की सराहना की। मंत्रिमंडल ने विभिन्न विभागों द्वारा प्रदान की गई धनराशि को खर्च न करने पर चिंता व्यक्त की तथा विभागीय सचिवों को निर्देश दिये कि वह इस धनराशि के उपयोग की सख्ती से निगरानी करें।
मंत्रिमंडल ने ग्रामीण विकास, जल शक्ति विभाग और ऊर्जा के प्रशासनिक सचिवों को भी निर्देश दिये कि वे अपने विभागों में उपलब्ध धन का उपयोग सुनिश्चित करने के लिए एक निगरानी प्रणाली विकसित करें। लोक निर्माण विभाग और जल शक्ति विभाग को अपनी दरों की अनुसूची शीघ्र अपडेट करने तथा निविदाएं एवं अन्य प्रक्रियाओं को सरल करने के निर्देश भी दिए।
मंत्रिमंडल ने उन लोगों, जो हिमाचल प्रदेश में बाहर से आए हैं और जिन्हें नौकरी तथा कौशल उन्नयन की आवश्यकता है, उन लोगों के पंजीकरण के लिए पोर्टल की सुझाव को मंजूरी दी। पर्यटन क्षेत्र के लिए ब्याज सबवेंशन के साथ कार्यशील पूंजी की आवश्यकताओं तथा ऋण की जरूरतों को पूरा करने के लिए पर्यटन विभाग को शीघ्र योजना तैयार करने का भी निर्देश दिया।
मंत्रिमंडल ने किसानों की सुविधा के लिए ई-नाम को बढ़ावा देने, लदानियों, श्रमिकों, मंडियों आदि की निरंतर निगरानी रखने, कोल्ड स्टोर भंडारण में वृद्धि, दूध खरीद प्रसंस्करण और स्वयं सहायता समूहों की सक्रिय भागीदारी पर बल दिया।
मंत्रिमंडल ने विभिन्न क्षेत्रों में श्रमिकों की कमी और उसके समाधान के लिए उद्योग मंत्री की अध्यक्षता में उप समिति को भी मंजूरी दी, जिसमें अतिरिक्त मुख्य सचिव बहुद्देशीय परियोजना एवं ऊर्जा (एमपीपी एंड पावर), प्रधान सचिव राजस्व, प्रधान सचिव कृषि, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव, सचिव जल शक्ति विभाग और सचिव बागवानी के साथ समिति गठित करने का निर्णय लिया है। 
सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री की अध्यक्षता में एससीएसपी मांग 32 के तहत योजनाओं के अनुमोदन की वर्तमान प्रणाली की जांच करने, इन योजनाओं के सरलीकरण और बेहतर निगरानी के लिए एक प्रणाली का प्रस्ताव तैयार करने के लिए अतिरिक्त मुख्य सचिव (एसीएस) श्रम और प्रधान सचिव वित्त के साथ समिति गठित करने का भी निर्णय लिया है।
मंत्रिमण्डल ने अतिरिक्त मुख्य सचिव ऊर्जा की अध्यक्षता में सीएसआर द्वारा वित्तपोषित प्रदेश के विकास में व्यय की जाने वाली निधि का मूल्यांकन करने के लिए निदेशक ऊर्जा और निदेशक उद्योग के साथ समिति गठित करने का निर्णय लिया है। 
मंत्रिमंडल ने प्रत्येक उपमंडल में एक अस्पताल चिन्हित करने और जमीनी स्तर पर बेहतर स्वास्थ्य बुनियादी ढांचा तैयार करने और अनावश्यक रेफरल से बचने के लिए मैनपावर और उपकरणों के संबंध में एक प्रस्ताव तैयार करने का भी निर्णय लिया है। 
बैठक में शिक्षा विभाग में अंशकालीन, जल वाहकों, जिन्होंने पांच वर्ष दैनिक भोगी और आठ वर्ष अंशकालीन जल वाहक के रूप में अपना 13 वर्ष का सेवाकाल पूरा कर लिया है, को नियमित करने का निर्णय लिया है। इससे पूर्वे इस श्रेणी को नियमित करने के लिए 14 वर्षों के सेवाकाल की आवश्यकता थी।
मंत्रिमण्डल ने शैक्षणिक सत्र वर्ष 2019-20 के लिए ‘अटल स्कूल वर्दी योजना’ के तहत पहली से 12वीं कक्षाओं के विद्यार्थियों के लिए हि.प्र. राज्य खाद्य आपूर्ति निगम के माध्यम से स्कूल वर्दी आपूर्ति करने की अनुमति दी है। इससे प्रदेश के लगभग 8.31 लाख विद्यार्थी लाभान्वित होंगे।
बैठक में महिला एवं बाल विकास विभाग में सीधी भर्ती के माध्यम से अनुबंध आधार पर सांख्यिकी सहायक के 10 पदों को भरने की स्वीकृति दी गई। मंत्रिमंडल ने मंडी जिला के पधर उप रोजगार कार्यालय में विभिन्न श्रेणियों के तीन पदों को भरने को भी मंजूरी दी।
कुल्लू जिला के वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला सरी भेखली में छात्रों की सुविधा के लिए प्रवक्ताओं के दो पदों के सृजन के साथ-साथ विज्ञान कक्षाएं शुरू करने को अपनी सहमति दी।

Sunday, May 24, 2020

राज्य की सीमाओं को सील करने की कोई योजना नहीं

राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 24 मई 2020 
जारी रहेगी फंसे लोगों की वापसी की प्रकिया--
राज्य की सीमाओं को सील करने की कोई योजना नहीं--
सोशल मीडिया में यह अफवाह फैलाई जा रही है कि 31 मई, 2020 से हिमाचल प्रदेश की सीमाओं को सील कर दिया जाएगा और देश के अन्य हिस्सों से आने वाले लोगों को सीमाओं पर संस्थागत क्वारंटीन में रखा जाएगा।
प्रदेश सरकार के एक आधिकारिक प्रवक्ता ने कहा है कि यह समाचार पूरी तरह गलत, मनगढ़ंत और तथ्यों के विपरीत है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार कोविड-19 महामारी के मद्देनजर लाॅकडाउन के कारण देश के विभिन्न हिस्सों में फंसे लोगों की सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है।
प्रवक्ता ने कहा कि राज्य की सीमाओं की कोई सीलिंग नहीं होगी और लोगों की आवाजाही जारी रहेगी। हालांकि सभी व्यक्तियों और वाहनों के अंतरराज्यीय आवागमन के लिए मौजूदा व्यवस्था के अनुसार पास की आवश्यकता होगी।
प्रदेश सरकार ने लोगों का आह्वान किया है कि वे इस प्रकार की अफवाहों से न घबराएं क्योंकि राज्य सरकार की ऐसी कोई योजना नहीं है।

Saturday, May 23, 2020

हि.प्र मंत्रिमण्डल के निर्णय: पठानकोट-चक्की-मण्डी फोर लेन सहित चार विशेष भू-अधिग्रहण इकाइयों को एक वर्ष के लिए विस्तार

राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 23 मई 2020
मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर की अध्यक्षता में आज यहां आयोजित राज्य मंत्रिमण्डल की बैठक में शिमला जिले के ठियोग विधानसभा क्षेत्र के पूर्व विधायक राकेश वर्मा के आकस्मिक निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया गया और दिवंगत आत्मा की शांति के लिए दो मिनट का मौन रखा गया।
बैठक में निर्णय लिया गया कि प्रदेश में 15वें केन्द्रीय वित्त आयोग की सिफारिशों को लागू किया जाएगा, जिसके अन्तर्गत आयोग से अभी तक प्राप्त अनुदानों में से 70 प्रतिशत ग्राम पंचायतों, 15 प्रतिशत पंचायत समितियों और 15 प्रतिशत जिला परिषदों को आवंटित किया जाएगा, ताकि वे विभिन्न विकास गतिविधियां चला सकें।
कोविड-19 के कारण देश व प्रदेश में जारी लाॅकडाउन के कारण निजी शिक्षण संस्थानों को केवल ट्यूशन फीस लेने की ही अनुमति दी जाएगी।
मंत्रिमण्डल ने कांगड़ा जिला में पशु औषधालय नगरोटा बगवां को आॅंचलिक पशु औषधालय के रूप में स्तरोन्नत करने और विभिन्न श्रेणियों के सात पद सृजित करने व भरने का निर्णय लिया।
बैठक में बेसहारा पशुओं की समस्या के समाधान, लोगों व संस्थाओं को इन्हें अपनाने के लिए प्रोत्साहित करने और राज्य में गौ-अभयारण्य व गौ-सदनों को आर्थिक सहायता प्रदान करने के उद्देश्य से बेसहारा पशुओं का पुनर्वास योजना आरम्भ करने को स्वीकृति प्रदान की गई। प्रारम्भिक चरण में गौ-सदनों, गौशालाओं और गौ- अभयारण्य में रखी गई प्रत्येक गाय के लिए पांच सौ रुपये देने का फैसला किया गया है। पशुपालन विभाग को भारत सरकार के दिशा-निर्देशों के अनुरूप गायों की टैगिंग का कार्य शीघ्र पूरा करने के लिए कहा गया है।
दुष्कर्म व यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पोस्को) के मामलों की सुनवाई के लिए एक वर्ष की अवधि के लिए शिमला, किन्नौर जिला के लिए रामपुर और सिरमौर जिला के लिए नाहन में फास्ट ट्रैक विशेष न्यायालय स्थापित करने का निर्णय लिया है। 
कार्य लेन-देन के लिए भुगतान और लेखा प्रक्रिया में पारदर्शिता, सटीकता और दक्षता प्राप्त करने तथा भुगतान व रसीद उपकरणों की पेयरिंग में विलम्ब को दूर करने के उद्देश्य से मंत्रिमण्डल ने जल शक्ति विभाग और लोक निर्माण विभाग के कार्यों को पूर्णतयः ट्रेजरी मोड में स्थानान्तरित करने और पहली जुलाई, 2020 से एलओसी प्रणाली को समाप्त करने का निर्णय लिया।
बैठक में चार विशेष भू-अधिग्रहण इकाइयों को एक मार्च, 2020 से 28 फरवरी, 2021 तक एक वर्ष के लिए विस्तार देने का निर्णय लिया गया। इसके साथ ही पहले से ही उपलब्ध स्टाफ के साथ कार्य करने की भी अनुमति प्रदान की गई है। इन इकाइयों में बिलासपुर, पंडोह-1, पंडोह-2 और शाहपुर शामिल हैं, जहां कीरतपुर-बिलासपुर-नेरचैक-पंडोह, पंडोह-टकोली, टकोली-कुल्लू-मनाली और पठानकोट-चक्की-मण्डी फोर लेन परियोजनाओं के निर्माण के लिए भूमि अधिग्रहण होना है।
मंत्रिमण्डल ने राष्ट्रीय उच्च मार्ग 21-ए बद्दी-नालागढ़-स्वारघाट की फोर लेनिंग के लिए भूमि अधिग्रहण के उद्देश्य से विशेष भू-अधिग्रहण इकाई नालागढ़ को पहली जनवरी, 2020 से 31 दिसम्बर, 2020 तक आगामी एक और वर्ष का विस्तार मंजूर किया है।
बैठक में कांगड़ा जिला के देहरा गोपीपुर में क्षेत्र के पूर्व एवं सेवारत सैनिकों की सुविधा के दृष्टिगत ईसीएचएस पाॅलीक्लीनिक एवं ईसीएम, सीएसडी कंटीन स्थापित करने के लिए केन्द्रीय रक्षा मंत्रालय के पक्ष में निःशुल्क भूमि हस्तांतरित करने को अपनी स्वीकृति प्रदान की।
मंत्रिमण्डल ने प्रदेश की स्थानीय भट्ठियों (डी-2) से एल-19ए लाइसेंस के अन्तर्गत परमिट जारी करते वक्त स्थानान्तरण शुल्क लागू करने का निर्णय लिया। यह निर्णय सभी प्रकार के स्पिरिट जैसे इथाइल अल्कोहल, इथेनोल, इएनए, रेक्टिफाइड स्पिरिट्स और एब्सोल्यूट अल्कोहल आदि के प्रापण के संदर्भ में लिया गया है, जिनका प्रयोग सैनिटाइजर के निर्माण में होता है। इन स्पिरिट्स का प्रापण 4.50 रुपये प्रति बल्क लीटर होगा। इस निर्णय से राजकोष में लगभग 5 करोड़ रुपये का अतिरिक्त राजस्व आएगा।
बैठक में एल-3, एल-4, एल-5 और एल-4ए व एल-5ए बार लाइसेंस के लिए लाइसेंस शुल्क तथा वर्ष 2020-21 के लिए प्रो-रेटा आधार पर न्यूनतम गारंटी कोटा लागू करने का निर्णय लिया।
मंत्रिमण्डल ने प्रदेश के सभी जिला दण्डाधिकारियों को दंड प्रक्रिया संहिता (सीसीपी), 1973 की धारा 144 (1) के अन्तर्गत जारी किए गए आदेशों को 30 जून 2020 तक बढ़ाने के लिए अधिकृत किया।
मुख्यमंत्री स्वावलम्बन योजना-2019 को और अधिक लाभकारी बनाने के लिए मंत्रिमण्डल ने इसमें संशोधन का निर्णय लिया है। इसके अनुसार इस योजना के अन्तर्गत स्वीकृत इकाइयों में बैंक द्वारा आवंटित की गई ऋण की पहली किस्त के एक वर्ष भीतर विनिर्माण व सेवा उपक्रमों में व्यावसायिक उत्पादन आरम्भ करना अनिवार्य होगा। इसके अतिरिक्त यदि इन इकाइयों की स्थापना हिमाचली मूल की विधवा ने किया हो और उसकी उम्र 45 वर्ष तक हो, उस स्थिति में पात्र अनुदान की राशि 30 प्रतिशत से बढ़ाकर 35 प्रतिशत की गई है।
बैठक में श्री लाल बहादुर शास्त्री राजकीय डिग्री कालेज एवं अस्पताल, नेरचैक में बीएससी नर्सिंग की सीटें 40 से बढ़ाकर 60 करने के लिए अनापत्ति प्रमाण पत्र जारी करने को स्वीकृति प्रदान की गईं।

मंत्रिमण्डल ने आईजीएमसी शिमला में रेडियोलाॅजी एवं गेस्ट्रोएन्टरोलाॅजी विभाग में सहायक प्रोफेसर और टांडा मेडिकल काॅलेज में सहायक प्रोफसर एनाॅटमी एवं पेडियट्रिक्स का एक-एक पद सृजित करने व भरने का निर्णय लिया।

Friday, May 22, 2020

राकेश प्रजापति ने पठानकोट के अधिकारियों तथा रेलवे अधिकारियों से की मीटिंग

राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 22 मई 2020
संस्थागत क्वारंटीन केंद्रों में नागरिकों के ठहरने के पुख्ता इंतजाम: डीसी
डीसी-एसपी ने चक्की बैंक में लिया व्यवस्थाओं का जायजा
पठानकोट के अधिकारियों तथा रेलवे के अधिकारियों से भी की मीटिंग
उपायुक्त कांगड़ा राकेश प्रजापति ने कहा कि बाहरी राज्यों से ट्रेन में आने वाले नागरिकों के मेडिकल चेकअप तथा संस्थागत क्वारंटीन केंद्रों में ठहराने के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं।
उपायुक्त कांगड़ा राकेश प्रजापति ने शुक्रवार को चक्की बैंक पठानकोट केंट रेलवे स्टेशन से नागरिकों को संस्थागत क्वारंटीन सेंटर तक पहुंचाने की व्यवस्थाओं का निरीक्षण किया तथा अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश भी दिए गए तथा पठानकोट के डीएसपी, एसडीएम तथा रेलवे के अधिकारियों के साथ मीटिंग भी की गई। इस दौरान पुलिस अधीक्षक विमुक्त रंजन, एडीएम मस्त राम, डीएसपी नूरपुर डा साहिल अरोड़ा तथा एसडीएम नूरपुर डॉ सुरेंद्र ठाकुर सहित विभिन्न अधिकारी उपस्थित रहे। 
उपायुक्त राकेश प्रजापति ने कहा कि पठानकोट कैंट रेलवे स्टेशन से एचआरटीसी की बसों के माध्यम से नागरिकों को संस्थागत क्वारंटीन सेंटर में पहुंचाया जाएगा, क्वारंटीन सेंटर में सभी नागरिकों के सेंपल भी लिए जाएंगे। उपायुक्त ने कहा कि सभी क्वारंटीन सेंटर्स को नियमित तौर पर सेनेटाईज भी किया जा रहा है। उपायुक्त ने कहा कि हिमाचल पर्यटन निगम के होटलों में भी पेड क्वांरटीन की व्यवस्था की गई है।
उन्होंने कहा कि बाहर से आए नागरिक के पास अलग मकान, शौचालय इत्यादि की व्यवस्था हो तो उसे भी वहां पर प्रोटोकॉल की अनुपालना करते हुए स्वास्थ्य विभाग की निगरानी में क्वारंटीन करने का प्रावधान भी किया गया। उपायुक्त ने कहा कि बच्चों, गर्भवती महिलाओं एवं बुर्जुगों को स्वास्थ्य विभाग की निगरानी में होम क्वारंटीन में रखने की व्यवस्था भी की गई। उपायुक्त ने कहा कि बाहर से आने वाले सभी नागरिकों को सामाजिक दूरी की अनुपालना के साथ ही क्वांरटीन केंद्रों तक पहुंचाने के दिशा निर्देश भी दिए गए हैं।
कर्फ्यू नियमों का उल्लंघन करने पर चार के खिलाफ एफआईआर
उपायुक्त राकेश प्रजापति ने कहा कि कर्फ्यू के दौरान नियमों का पालन नहीं करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा रही है। शुक्रवार को मंगरेला में किरयाने की दुकान कर्फ्यू में खोलने तथा जयसिंहपुर बाजार में रेहड़ी लगाने वाले के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है इसी तरह से नौहरा बैजनाथ तथा नुरपुर में बाहरी राज्य से बिना अनुमति के पहुंचे दो लोगों के खिलाफ भी एफआईआर दर्ज की गई है। उपायुक्त राकेश प्रजापति ने कहा कि कांगड़ा जिला में कर्फ्यू में ढील का समय प्रातः सात से दोपहर बजे तक का है तथा इसके समयावधि के अतिरिक्त दुकानें खोलने की अनुमति नहीं है। उन्होंने कहा कि होम क्वारंटीन किए गए लोगों को भी घरों में ही रहना सुनिश्चित करना होगा अन्यथा उनके खिलाफ भी आवश्यक कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
कोविड केयर सेंटर से चार नागरिकों को किया डिस्चार्ज
उपायुक्त राकेश प्रजापति ने कहा कि कोविड केयर सेंटर बैजनाथ में रखे गए लोगों में से चार के सेंपल की रिपोर्ट नेगेटिव आई है जिसमें पपरोला का एक, पंचरूखी का एक तथा दो कांगड़ा उपमंडल के नागरिक शामिल हैं इन्हें शुक्रवार को डिस्चार्ज कर दिया गया है तथा सात दिन तक होम क्वारंटीन में ही रहने के निर्देश दिए गए हैं।




किसी की मदद करना चाहते हैं तो इस परिवार की करें

राकेश शर्मा (जसूर) 22 मई 2020
कहते हैं कि मुसीबत कभी अकेली नहीं आती। ऐसा ही कुछ ग्राम पंचायत कुठेड़ा की महिला के साथ घटित हो रहा है, पति कैंसर का मरीज, सास ससुर अपंग और खस्ताहालत घर जो कभी भी गिर सकता है और परिवार के लिए मौत का कारण बन सकता है। मुसीबत की मारी इस महिला का कहना है कि जब उसका पति ठीक था तो वह मेहनत मजदुरी करता था तो वह दो वक्त की रोटी खा पाते थे। परंतु पति के बीमार होने के बाद वह बिल्कुल लाचार हो गयी। बच्चो का पेट पालने के लिए किसी तरह लोगों के घरों में दिहाड़ी मजदूरी कर रही है। महिला का यह भी कहना है कि गरीबों की मदद के बड़े बड़े दाबे करने वाली सरकार की तरफ से उसको कोई भी सहायता नही मिली है। 
हालांकि इलाके की एक एनजीओ एंजेल दिव्यांग आश्रम ने उस परिवार की दयनीय हालत को देखकर मदद के हाथ बढ़ाये तथा उन्हें दो महीने का राशन उपलब्ध करवाया तथा भविष्य में हर संभब मदद का आश्वासन दिया है। वहीँ महिला के बच्चों की पढ़ाई के लिए पुस्तकें कापियां भी प्रदान की हैं। आपको बता दे कि उक्त दिव्यांग आश्रम के संचालक कई गरीव लोगों को अपने स्तर पर मदद दे चुके है तथा कई गरीव परिवारों के बच्चों की पढ़ाई का खर्चा उठा रहे हैं।  
एंजेल दिवांग आश्रम की सचलिका अलका शर्मा ने बताया कि उनकी संस्था लगातार जरूरतमंद गरीव लोगों की मदद कर रही है आज हमारी संस्था ने एक गरीव परिवार को 2 महीने का राशन दिया तथा परिवार के बच्चों की पढ़ाई का खर्चा संस्था द्वारा उठाने का आश्वासन दिया भविष्य में भी उक्त परिवार की यथा सम्भव मदद करेगी।
इस बारे एसडीएम जवाली सलीम आजम ने बताया की कुठेड़ पंचायत की एक महिला उनके कार्यालय में आई थी। उसका पति कैंसर रोग से पीड़ित है तथा उसका मकान गिरने वाला है। इस बारे प्रशासन की ओर से महिला की यथासंभव मदद की जाएगी। महिला को सहारा योजना में शामिल करने के लिए एसएमओ को कहा गया है। वही आज एंजेल दिव्यांग आश्रम द्वारा महिला को राशन उपलब्ध करवाने की सराहना करते हुए उनका धन्यवाद किया और इलाके के अन्य समाजसेवियों को आग्रह किया की उक्त गरीव महिला की मदद करे।

जानिए कहां: तीन पीडब्ल्यूडी अभियन्ताओं को किया गया निलंबित

राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 22 मई 2020
तीन पीडब्ल्यूडी अभियन्ताओं को कर्तव्य निर्वहन में कोताही के लिए निलंबित किया गया है। शिमला जिला के रोहडू स्थित बखीरना में पब्बर नदी पर बने डबल लेन पुल के निर्माण के दौरान उचित पर्यवेक्षण और निगरानी में कोताही के लिए राज्य सरकार ने तत्कालीन अधिशाषी अभियंता, लोक निर्माण विभाग मण्डल रोहड़ू, रवि भट्टी को निलंबित कर दिया है। वह वर्तमान में ठियोग में तैनात हैं। 
लोक निर्माण विभाग के सहायक अभियंता, रोहड़ू नरेंद्र सिंह नाइक और कनिष्ठ अभियंता, सिविल, रोहड़ू सेक्शन विजय कुमार को भी इस पुल के निर्माण कार्य के दौरान उचित पर्यवेक्षण और निगरानी में कोताही के लिए निलंबित किया गया है। पब्बर नदी पर बना यह पुल इस माह की 13 तारीख को क्षतिग्रस्त हो गया था।
प्रधान सचिव पीडब्ल्यूडी जे.सी. शर्मा ने जानकारी देते हुए कहा है कि मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर के निर्देश पर राज्य सरकार ने इस पुल के क्षतिग्रस्त होने के कारणों की जांच के लिए तीन सदस्यीय समिति का गठन किया था। उन्होंने कहा कि रिपोर्ट के अनुसार इस पुल के निर्माण में तकनीकी खामियों के अलावा, उचित पर्यवेक्षण और निगरानी में लापरवाही को भी इंगित किया गया है। 
उन्होंने कहा कि इस मामले की विस्तृत जांच की गई है और मुख्यतः इन तीनों अभियन्ताओं को इस चूक के लिए जिम्मेदार पाया है। उन्होंने कहा कि इन अधिकारियों को निलंबित कर दिया गया है और निर्माण कार्य से जुड़े अन्य अधिकारियों/कर्मचारियों को कारण बताओ नोटिस जारी किए जा रहे हैं।
जे.सी. शर्मा ने कहा कि मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर के नेतृत्व में राज्य सरकार विकासात्मक कार्यों के गुणवत्तापूर्ण निर्माण को सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है। इस संबंध में किसी भी तरह की लापरवाही को गंभीरता से लिया जाएगा और दोषी अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

डीसी ने क्वारंटीन सेंटर, कोविड केयर सेंटर में सुविधाओं का लिया जायजा

राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 22 मई 2020

डीसी ने क्वारंटीन सेंटर, कोविड केयर सेंटर में सुविधाओं का लिया जायजा
सेवाएं दे रहे वालंटियर्स के कार्यों की सराहना भी की
कोविड-19 से निपटने के लिए जिला प्रशासन ने किए हैं पुख्ता इंतजाम
उपायुक्त राकेश कुमार प्रजापति ने वीरवार को परौर में संस्थागत क्वारंटीन सेंटर तथा डाढ में कोविड केयर सेंटर में सुविधाओं का निरीक्षण किया। इस अवसर पर उनके साथ एसपी विमुक्त रंजन तथा एसडीएम पालमपुर, एसडीएम धर्मशाला तथा स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी भी उपस्थित थे। उपायुक्त राकेश प्रजापति ने परौर संस्थागत क्वारंटीन सेंटर में अपनी सेवाएं दे रहे वालंटियर्स के कार्यों की भी सराहना करते हुए कहा कि कोरोना महामारी की चुनौतियों के दौरान वालंटियर्स बेहतर कार्य कर रहे हैं।
उपायुक्त राकेश प्रजापति ने कहा कि जिला कांगड़ा में कोविड-19 के संक्रमण से निपटने के लिए प्रशासन पूरी तरह से तैयार है इस बाबत जिला में टेस्टिंग सुविधा के विस्तारीकरण से लेकर संस्थागत क्वारंटीन में भी दस हजार के करीब नागरिकों को ठहराने की व्यवस्था की गई है जबकि इसके साथ ही हिमाचल पर्यटन निगम के होटलों में भी पेड क्वांरटीन की व्यवस्था की गई है। उन्होंने कहा कि बाहर से आए नागरिक के पास अलग मकान, शौचालय इत्यादि की व्यवस्था हो तो उसे भी वहां पर प्रोटोकॉल की अनुपालना करते हुए स्वास्थ्य विभाग की निगरानी में क्वारंटीन करने का प्रावधान भी किया गया है। बैजनाथ के साथ साथ डाढ, फतेहपुर में भी नए कोविड केयर सेंटर स्थापित किए जा चुके हैं।
उपायुक्त राकेश प्रजापति ने कहा कि 52 हजार लोगों की होम क्वारंटीन में निगरानी की सुनिश्चित की गई है जबकि बाहरी राज्यों से आने वाले सभी नागरिकों के सेंपल भी एकत्रित किए जा रहे हैं तथा रिपोर्ट नेगेटिव आने के बाद ही होम क्वारंटीन के लिए भेजा जा रहा है।
उपायुक्त राकेश प्रजापति ने कहा कि गत दो दिनों से बाहरी राज्यों से आए नागरिकों की रिपोर्ट ही पोजिटिव आई है तथा यह सभी संस्थागत क्वारंटीन में रखे गए थे तथा संस्थागत क्वारंटीन सेंटर में ही उनके सेंपल लिए गए हैं। कोविड-19 पॉजिटिव नागरिकों को बैजनाथ के कोविड केयर सेंटर में रखा गया है।

Thursday, May 21, 2020

मुख्यमंत्री एक बीघा योजना के तहत मिलेगा 50 (40+10) हजार का अनुदान

राकेश शर्मा (हिमाचलविज़िट) 21 मई 2020  
मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने आज शिमला से वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के माध्यम से राज्य में अभिनव और महत्वाकांक्षी योजना ‘मुख्यमंत्री एक बीघा योजना’ का शुभारम्भ किया। इस योजना में महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) को जोड़कर ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने की परिकल्पना की गई है। इस योजना केे तहत एक महिला या उसका परिवार जिनके पास एक बीघा (या 0.4 हेक्टेयर) तक की भूमि है, वह सब्जियों और फलों को उगाने के लिए बैकयार्ड किचन गार्डन तैयार कर सकते हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस योजना में 5,000 स्वयं सहायता समूहों के माध्यम से लगभग 1.50 लाख महिलाएं शामिल होंगी। उन्होंने कहा कि इस योजना के तहत प्रत्येक लाभार्थी महिला को मनरेगा के तहत रोजगार पाने का अधिकार होगा। इसके अलावा महिलाओं के कौशल को बढ़ाने के लिए उन्हें प्रशिक्षण दिया जाएगा तथा पहाड़ी भूमि को समतल करने, पानी को चैनेलाइज़ करने, वर्मी कम्पोस्ट पिट स्थापित करने और पौधे और बीज खरीदने के लिए अनुदान दिया जाएगा।
जय राम ठाकुर ने कहा कि कोरोना महामारी ने योजनाकारों को विकासात्मक योजनाओं के बारे में पुनर्विचार करने के लिए मजबूर किया है, ताकि विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों में अर्थव्यवस्था को पुनर्जीवित किया जा सके। उन्होंने कहा कि इस उद्देश्य के साथ सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों में आर्थिक गतिविधियों के पुनरूत्थान के लिए ‘मुख्यमंत्री एक बीघा योजना’ आरम्भ की है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आरम्भ में इस योजना के तहत लगभग पांच हजार परिवार शामिल किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि संबंधित पंचायतें, प्रस्ताव प्राप्त करने के बाद उनको मनरेगा शैल्फ में शामिल करने के लिए खंड विकास अधिकारी को भेजेंगी।
उन्होंने कहा कि इस योजना का उद्देश्य मनरेगा और स्वच्छ भारत मिशन का अभिसरण कर ग्रामीणों को किचन गार्डनिंग के लिए प्रोत्साहित करना है। उन्होंने कहा कि स्वयं सहायता समूहों को इस योजना का लाभ प्राप्त करने के लिए प्रेरित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सभी स्वयं सहायता समूह जो जाॅब कार्ड धारक हैं, वह इस योजना के तहत एक लाख रुपये का लाभ प्राप्त कर सकते हैं। इस योजना के तहत लगभग 1.50 लाख महिला सदस्य लाभान्वित होंगी।
जय राम ठाकुर ने महिला स्वयं सहायता समूहों से राज्य में कोविड-19 महामारी से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए राज्य सरकार को सहयोग देने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि महिलाओं को देश के अन्य हिस्सों से आने वाले व्यक्तियों के अपने मूल स्थान पर आने पर उन पर नजर रखनी चाहिए, ताकि वह होम क्वारन्टीन का उल्लंघन न कर सकंे। उन्होंने महिला स्वयं सहायता समूहों से फेस मास्क तैयार करने और जरूरतमंदों को उनका वितरण करने के लिए आगे आने का आग्रह किया।
मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर योजना का पोस्टर भी जारी किया। इस दौरान वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग में राज्य के 80 विकास खंडों के महिला स्वयं सहायता समूहों ने भाग लिया। वहीँ ग्रामीण विकास और पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने कहा कि इस योजना से राज्य की ग्रामीण आर्थिकी में बदलाव आएगा और जमीनी स्तर पर महिलाओं का आर्थिक सशक्तीकरण भी होगा। सचिव ग्रामीण विकास डाॅ. आर.एन. बत्ता ने इस योजना के बारे में विस्तृत जानकारी दी।
निदेशक ग्रामीण विकास ललित जैन ने कहा कि इस योजना के तहत पात्र महिलाएं 40,000 रुपये का अनुदान पाने की हकदार होंगी और कंकरीट वर्मी कम्पोस्ट पिट बनाने के लिए 10,000 रुपये तक अनुदान दिया जाएगा।
लाहौल स्पीति जिले के रंगरिक रेवा स्वयं सहायता समूह की छेरिंग डोलमा, मंडी जिले के सिराज ब्लाॅक के रितिक स्वयं सहायता समूह की खेम दासी, ऊना जिला के बंगाणा ब्लाॅक के आस्था स्वयं सहायता समूह की संतोष कुमारी, मंडी जिला के धर्मपुर ब्लाॅक के कालसावी स्वयं सहायता समूह की बबली देवी, कुल्लू जिला के बजौरा के सरस्वती स्वयं सहायता समूह की सरिता देवी, शिमला जिला के बसंतपुर ब्लाॅक की आशा स्वयं सहायता समूह की राधा देवी, सोलन जिला के कंडाघाट ब्लाॅक के एकता स्वयं सहायता समूह की सुनीता, हमीरपुर जिला के भोरंज ब्लाॅक के ज्योति स्वयं सहायता समूह की रमा देवी और चम्बा जिला के भटियात ब्लाॅक के बाबा लखदाता स्वयं सहायता समूह की अनीता देवी ने वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के माध्यम से अपने विचार सांझा किए।
उन्होंने ग्रामीण महिलाओं की आर्थिकी को सुदृढ़ करने के लिए इस नई योजना को आरम्भ करने के लिए मुख्यमंत्री का धन्यवाद