Thursday, September 19, 2019

अनुच्छेद 370 को हटाने पर जन जागरण सभा आयोजित

राकेश शर्मा: जसूर: 19 सितम्बर 2019





जम्मू और कश्मीर क्षेत्र में शांति, प्रगति और समृद्धि के एक नए युग का होगा आरम्भः मंख्यमंत्री


मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने जम्मू और कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाने पर आज यहां जन जागरण सभा को संबोधित करते हुए कहा कि अनुच्छेद 370 और अनुच्छेद 35 ए जम्मू-कश्मीर के विकास में बाधा थी और इन अनुच्छेदों के हटाए जाने से केन्द्र शासित प्रदेशों जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के विकास में तेजी आएगी और यहां के निवासियों के लिए सुरक्षित और शांतिपूर्ण वातावरण सुनिश्चित होगा। 


जय राम ठाकुर ने कहा कि भारत को स्वतंत्रता मिलने के बाद, तत्कालीन प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू ने कुल 562 रियासतों में से 561 रियासतों को केंद्रीय गृह मंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल को भारत संघ में विलय के लिए सौंपा और कहा कि वह स्वयं जम्मू कश्मीर राज्य को संभालेंगे। उन्होंने कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि सभी 561 राज्य भारत का अभिन्न अंग बन गए लेकिन अनुच्छेद 370 को मंजूरी देकर जम्मू कश्मीर को एक अलग राज्य के रूप में रखा गया। उन्होंने कहा कि लगभग 70 वर्ष के लंबे समय के बाद अब अनुच्छेद 370 को जम्मू कश्मीर से हटा दिया गया है, जिसके तहत इस राज्य को विशेष दर्जा दिया गया था तथा अब पूरे देश में ‘एक राष्ट्र एक संविधान’ सुनिश्चित हुआ है।


जय राम ठाकुर ने कहा कि डाॅ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी, जिन्होंने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सहयोग से 21 अक्टूबर, 1951 को जनसंघ की स्थापना की थी, वह भारत में एक संविधान, एक ध्वज और एक प्रधानमंत्री होने के पक्ष में थे। वह एक सच्चे राष्ट्रवादी थे, जो न केवल भारत को उपनिवेशक मानसिकता से मुक्त करना चाहते थे, बल्कि जम्मू-कश्मीर के लिए अनुच्छेद 370 का भी समर्थन नहीं करते थे। उन्होंने कहा कि डाॅ. मुखर्जी का मानना था कि अनुच्छेद 370 भारत की एकता के लिए खतरा बन जाएगा। उन्होंने प्रसन्नता व्यक्त की कि इस ऐतिहासिक निर्णय से डाॅ. मुखर्जी का सपना पूरा हो गया है।


मुख्यमंत्री ने कहा कि अनुच्छेद 370 घाटी में आतंकवाद और राष्ट्र विरोधी गतिविधियों को फैलाने का मुख्य कारण था। उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 35 ए ने जम्मू कश्मीर सरकार को विशेष अधिकार दिया है, जिससे देश के लोगों को जम्मू-कश्मीर में बसने से वंचित किया है और यहां तक कि कश्मीरी लड़कियों को गैर-कश्मीरी से शादी करने के कारण उनके अधिकारों से वंचित रखा गया है। उन्होंने कहा कि इस अनुच्छेद ने दो राजनीतिक परिवारों को उनकी इच्छानुसार जम्मू कश्मीर पर शासन करने में मदद की। उन्होंने कहा कि आज भी कांग्रेस पार्टी अनुच्छेद 370 पर विभाजित है क्योंकि उन्हें लगता है कि यह राज्य के विकास में सबसे बड़ी बाधा थी। उन्होंने कहा कि इससे जम्मू-कश्मीर क्षेत्र में शांति, प्रगति और समृद्धि का एक नया युग आरम्भ होगा और अब यह क्षेत्र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के गतिशील नेतृत्व में तीव्र गति से विकसित होगा।


मुख्यमंत्री ने कहा कि अनुच्छेद 370 जम्मू और कश्मीर की प्रगति में सबसे बड़ी बाधा थी। उन्होंने कहा कि अब जम्मू और कश्मीर पूरे राष्ट्र के साथ समृद्ध व विकसित होगा। उन्होंने कहा कि जम्मू और कश्मीर के लोगों पर देश का कानून लागू होगा। यह निर्णय देश की सुरक्षा तथा अखण्डता को बनाए रखने में लम्बे समय के लिए मदद्गार होगा। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार का यह सही दिशा में लिया गया निर्णय है, जो केन्द्र सरकार की जम्मू और कश्मीर के प्रति सोच को दर्शाता है। उन्होंने कहा कि अब समय आ गया है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के सशक्त नेतृत्व में पाक अधिकृत कश्मीर (पीओक) भीे भारत का एक अभिन्न अंग हो।


इससे पूर्व, मुख्ममंत्री ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के जन्म दिवस के अवसर पर आयोजित किए जा रहे ‘सेवा शपथ’ के अन्तर्गत भाजपा जनता पार्टी की ओर से प्रधानमंत्री के जीवन पर लगाई गई प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया।
इस अवसर पर बोलते हुए, शिक्षा मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि यह वर्ष भारतीय इतिहास में स्वर्ण अक्षरों में लिखा जाएगा, क्योंकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में अनुच्छेद 370 को निरस्त करने का एक ऐतिहासिक निर्णय लिया गया है। उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 370 पूर्व प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू की भारी भूल थी, जिसे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सुधारा हैं। उन्होंने कहा कि सरदार पटेल जम्मू कश्मीर में अनुच्छेद 370 को लागू करने के पूरी तरह खिलाफ थे, क्योंकि उन्होंने देश की सभी रियासतों के लिए एक समान ‘विलय पत्र’ तैयार किया था। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की भूल के कारण जम्मू और कश्मीर के लोगों को उनके वैध अधिकारों से वंचित रहना पड़ा।


सांसद सुरेश कश्यप ने कहा कि जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाना अपने आप में केंद्र सरकार का एक ऐतिहासिक और साहसिक कदम है। उन्होंने कहा कि इस निर्णय से स्वर्गीय डाॅ0 श्यामा प्रसाद मुखर्जी का सपना साकार हुआ है और भारत जम्मू कश्मीर से कन्याकुमारी तक एक हो गया है। उन्होंने कहा कि अब जम्मू कश्मीर के लोग केंद्र सरकार द्वारा शुरू की गई कई योजनाओं का लाभ प्राप्त कर सकेंगे। उन्होंने कहा कि वह लोकसभा के सदस्य के रूप में इस ऐतिहासिक निर्णय के गवाह बनने के लिए भाग्यशाली हैं।
पूर्व सांसद तथा राष्ट्रीय एकता अभियान के आयोजक वीरेन्द्र कश्यप ने मुख्यमंत्री तथा अन्य गणमान्य लोगों का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम के आयोजन का मुख्य उद्देश्य अनुच्छेद 370 और 35-ए के जम्मू और कश्मीर से उन्मूलन के ऐतिहासिक निर्णय के बारे में लोगों को जागरूक करना है। उन्होंने कहा कि डाॅ. भीम राव अंबेडकर भी अनुच्छेद 370 के विरूद्ध थे क्योंकि उन्हें लगता था कि इससे जम्मू-कश्मीर के लोग देश के बाकी लोगों से अलग-थलग हो जाएगें। उन्होंने कहा कि यह फैसला कश्मीर के आम आदमी के हित में लिया गया है।


पूर्व सांसद बिमला कश्यप सूद, महासचिव प्रदेश भाजपा चन्द्र मोहन ठाकुर, नगर निगम की महापौर कुसुम सदरेट, सक्षम गुड़िया बोर्ड की अध्यक्ष रूपा शर्मा, बाल कल्याण काउंसिल की महासचिव पायल वैद्य, हिमफैड के अध्यक्ष गणेश दत्त, मुख्यमंत्रंी के राजनीतिक सलाहकार त्रिलोक जमवाल भी अन्यों सहित इस अवसर पर उपस्थित थे।

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